क्या बीएससी के बाद एमए कर सकते हैं?
अगर आपने बारहवीं कक्षा के बाद पढ़ाई के लिए साइंस स्ट्रीम चुन लिया है। किंतु, आपका मन आर्ट्स सब्जेक्ट्स में लग रहा है। आपको मानविकी के विषयों में रुचि है। अब आपको महसूस हो रहा है कि आपने ग़लत स्ट्रीम का चयन कर लिया है। तो आप अब भी अपने मनपसंद मानविकी विषय के साथ एमए कर सकते हैं। अगर आपके मन में सवाल है कि क्या बीएससी के बाद एमए कर सकते हैं, तो इस लेख में आपको इस सवाल का जवाब मिल जाएगा।
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क्या बीएससी के बाद एमए कर सकते हैं?
बीएससी के बाद आप एमए कर सकते हैं, क्योंकि एमए में एडमिशन पाने के लिए स्टूडेंट्स के पास किसी भी स्ट्रीम में बैचरल डिग्री होना आवश्यक होता है। बीएससी साइंस स्ट्रीम की बैचलर डिग्री है। इसलिए आप बीएससी के बाद एमए कर सकते हैं।
बीएससी के बाद किस सब्जेक्ट से एमए करें?
एमए आर्ट्स स्ट्रीम से पोस्ट ग्रेज्युएशन करने के लिए एक कोर्स है। अगर आप बीएससी करने के बाद एमए करना चाहते हैं, तो आप मानविकी, भूगोल, भाषा विज्ञान, कम्युनिकेशन और सामाजिक विज्ञान व मानवशास्त्र आदि विषयों से एमए कर सकते हैं।
एमए के लिए सब्जेक्ट चयन करने के कई कारक हैं। आप अपनी रुचि का विषय लेकर एमए करेंगे, तो आपको पढ़ाई मजेदार लगेगी। इसके अलावा विषय चयन करते समय उस विषय पर करियर संभावना देखना भी महत्वपूर्ण है। ऐसे विषय का चयन न करें, जिसमें करियर की संभावना ही न हो।
बीएससी के बाद एमए किस सब्जेक्ट से करें सवाल का जवाब ढूंढते समय यह भी ध्यान रखना आवश्यक है कि हमें उस विषय की सामान्य समझ है या नहीं। अगर उस विषय में करियर स्कोप अच्छा है, लेकिन हमें उसकी सामान्य समझ तक नहीं है। उसकी पारिभाषिक शब्दावली समझ में नहीं आती। उसके समीकरण हमें उलझाते हैं, ऐसे में उस सब्जेक्ट का चयन करने से बचना चाहिए।
अगर आप विषय चयन करने के लिए अधिक जानकारी चाहते हैं, तो आप हमारा लेख एक सही करियर कैसे चुनें लेख पढ़ें।
बीएससी के बाद एमए करने के फायदे
बीएससी के बाद एमए करने के निम्नलिखित फायदे हैं-
- जिस विषय से एमए करेंगे, उस विषय के अध्यापक बन सकते हैं।
- एमए करने के बाद आप अपने विषय पर रिसर्च कर सकते हैं।
- किसी विषय में मास्टर्स डिग्री लेने के बाद आप उस विषय की कोचिंग दे सकते हैं।
- एमए करने के बाद आप पोस्ट ग्रेज्युएट टीचर (पीजीटी) भर्ती के लिए योग्य हो जाते हैं।
- आप जिस विषय से एमए करते हैं, उस विषय से संबंधित सरकारी विभाग में नौकरी कर सकते हैं।
बीएससी के बाद अपने मनपसंद विषय के साथ एमए कर सकते हैं। संभावना भी है कि आपको उस विशिष्ट विषय के अध्ययन के बाद करियर संबंधी नए द्वार खुलें। आपको बीएससी के बाद एमए करने के और भी बहुत सारे फायदे हो सकते हैं। अगर आप अध्यापक बनने के बारे में जानना चाहते हैं, तो हमारे लेख बीएड कोर्स के बारे में संपूर्ण जानकारी पढ़ें।
निष्कर्ष
अगर आप बीएससी के बाद एमए करने का मन बना रहे हैं, तो कोई गलत बात नहीं है। आप अपने रुचि के विषय के साथ एमए कर सकते हैं। ऐसे बहुत सारे उदाहरण मिल जाएंगे, जिसमें साइंस स्ट्रीम के स्टूडेंट्स ने उच्च शिक्षा आर्ट्स स्ट्रीम में ग्रहण की और आज जीवन में बहुत ही सफल हैं।
हम उम्मीद करते हैं इस लेख में क्या बीएससी के बाद एमए कर सकते हैं, किस सब्जेक्ट से एमए करें और बीएससी करने के बाद एमए करने के फायदे जैसे सवालों के जवाब मिल गए होंगे। ऐसे ही जानकारी भरे लेख पढ़ने के लिए आप ज्ञान संगम पर विजिट करते रहिए।
कुछ महत्वपूर्ण प्रश्नोत्तर
एमए 2 साल का एक पोस्टग्रेज्युएशन कोर्स है। इसमें आर्ट्स स्ट्रीम के विषयों का गहन अध्ययन किया जाता है। हालांकि, नई शिक्षा नीति में 4 साल के ग्रेज्युएशन करने वाले स्टूडेंट्स के लिए यह 1 साल का कोर्स है।
नहीं। एमएससी करने के लिए आपको ग्रेज्युएशन में विज्ञान स्ट्रीम के विषयों का अध्ययन होना अनिवार्य है। हालांकि, कुछ खास विषयों के लिए यह संभव है।
नहीं। बैचलर और मास्टर्स कोर्स एक साथ करना मुमकिन नहीं है। दो रेगुलर कोर्सेस एक साथ करना कानूनी रूप से भी संभव नहीं है।
2 अलग-अलग विषयों में एमए की डिग्री हासिल करने वाला व्यक्ति डबल एमए कहलाएगा। जैसे- पहला एमए हिंदी साहित्य से कर लिया और दूसरी एमए हिस्ट्री से कर लिया। पढ़ने के शौकीन बहुत सारे व्यक्ति होते हैं, जो कई विषयों के साथ एमए करते हैं।
बीए करने का लाभ यह है कि आप ग्रेज्युएट कहलाएंगे। आपके पास ग्रेज्युएशन डिग्री होगी। दूसरा लाभ है कि आप अब पोस्ट ग्रेज्युएशन की पढ़ाई कर सकते हैं। तीसरा आप सरकारी नौकरियों के लिए आवेदन कर सकते हैं।